लाखों की लागत से निर्मित परकुलेशन टैंक बूंद भर पानी को मोहताज
आखिर कब होगा इसके जिम्मेदारों पर कार्यवाही या ऐसा ही चलता रहेगा घोटाले का खेल

शुभचिंतकों को शिकायत करने पर कार्यवाही करने का मिलता है आश्वासन
जनपद पंचायत डिंडौरी अंतर्गत ग्राम पंचायत इमलई का मामला
डिंडौरी (संतोष सिंह राठौर)मानव जीवन ही नहीं बल्कि सभी जीव मात्र के लिए पानी एक मूल भूत ज़रूरत है अगर दो दिन जीव को खाना ना मिले तो जीवन की कल्पना की जा सकती है पर अगर एक दिन भी पानी ना मिले तो जीवन की कल्पना भी नहीं की जा सकती जल है तो कल है इस तर्ज पर ही शायद शासन भी जल को एकत्रित करने लाखों रुपए खर्च कर अनेक तरह की योजनाएं संचालित कार रही है ताकि भविष्य सुधरे पर स्थानीय प्रशासन इस पर खरा नहीं उतर रही है जिसका जीता जागता उदाहरण जिले भर में देखा जा सकता है फिर चाहे नल जल योजन हो, मानसरोवर तालाब हो या फिर परकुलेशन टैंक का निर्माण किए जाने में घोटाला किए जाने के मामले हों अधिकारियों को अपने कमीशन से मतलब है फिर चाहे वह कार्य गुणवत्तापूर्ण बने या फिर गुणवत्ताहीन इससे उन्हें कोई लेना देना नहीं है ऐसा ही मामला जनपद पंचायत डिंडौरी अंर्तगत ग्राम पंचायत इमलई का सामने आया है जहां पर जल रोकने परकुलेशन टैंक का निर्माण तो कराया गया पर गुणवत्ता का ध्यान नहीं रखा गया जिसका परिणाम यह हुआ कि वह परकुलेशन टैंक पहली बारिश में ही फूट गया था जिसे तात्कालिक तौर पर भर तो दिया गया पर उस परकुलेशन टैंक में पानी को नहीं रोका जा सका जिसका परिणाम यह हुआ की शासन की मनसा पर पानी फिर गया शासन के द्वारा जिस उद्देश्य से लाखों खर्च किया जा रहा को जिम्मेदार अधिकारियों की लापरवाही की वजह से मंजिल मिलता नज़र नहीं आ रहा
5माह पूर्व ही 9लाख रू की लागत से कराया गया था परकुलेशन टैंक का निर्माण
इमलई में 5महिना पहले ही 9लाख की लागत से परकुलेशन टैंक का निर्माण कराया गया था जिसका आलम यह है कि अभी गर्मी का समय आया भी नहीं है कि परकूलेशन टैंक बूंद भर पानी को मोहताज हो गया जबकि शासन के द्वारा पानी एकत्रित करने परकुलेशन टैंक का निर्माण कराया जाता है ताकि पानी एकत्रित हो जिसका लाभ कृषि को सिंचित करने में लाभकारी तो हो ही साथ ही भूमि का जल स्तर में भी बढ़ोतरी हो सके।
उपयंत्री कमलेश धूमकेती के क्षेत्र में शासन को लग रहा लाखों का चूना
अधिकांशतः देखा जा रहा है कि जनपद पंचायत डिंडौरी में पदस्थ उपयंत्री कमलेश धूमकेती के कार्य क्षेत्र में लगातार अनियमितता सामने आ रही है इससे ऐसा लगता है की साहब को किसी का भय नहीं है फिर चाहे जो मर्जी करें और तो और इतने बड़े मामला सामने आने के बाद भी कोई कार्यवाही का ना होना भी चौंकाने वाली बात है
शासन की महत्वपूर्ण योजनाओं में भी जिम्मेदारों का नहीं ध्यान
शासनशासन
की महत्वपूर्ण योजनाओं में भी जिम्मेदारों का नहीं ध्यन की महत्वपूर्ण योजनाओं में ननल जल योजना एवं जल संरक्षण शासन की महत्वपूर्ण योजनाओं में से एक है पर अधिकांशतः यह देखा जा रहा है कि जिम्मेदार अधिकारियों का इस ओर कोई ध्यान नहीं है तभी तो लाखों रूपए खर्च करने के बाद भी उन योजनाओं को लक्ष्य की प्राप्ति नहीं हो पा रही है आखिर क्या होगा,ग्रामीणों, किसानों की आशाओं पर फिरजाएगा पानी या उनके खेत को भी मिलेगा पानी,उन किसानों की खेती लाभ का धंधा बनेगा या ख्वाब ही रह जाएगा
आखिर कब होगा लापरवाह अधिकारियों पर कार्रवाई
जिम्मेदार अधिकारियों की लापरवाही के चलते शासन के द्वारा संचालित जनकल्याणकारी योजनाएं जो लाखों खर्च करने के बाद भी सफल नहीं हो पा रहे हैं और ना ही उन योजनाओं का लाभ ग्रामीणों को मिल पा रहा है ऐसे लापरवाह अधिकारियों पर आखिर कब कार्यवाही होगी या फिर इसी तरह शासन की योजनाएं लापरवाह अधिकारियों कि भ्रष्टाचार का भेट चढ़ता रहेगा।